मिच अल्बोम की "हैव ए लिटिल फेथ: ए ट्रू स्टोरी" मानवता को दिए गए एक दिव्य उपहार के रूप में मुक्त की अवधारणा की पड़ताल करती है। पुस्तक बताती है कि भगवान ने दुनिया के साथ मनुष्यों को सौंपा, व्यक्तिगत पसंद और जिम्मेदारी के महत्व पर जोर दिया। एक दिव्य सार के साथ बनाए जाने की यह धारणा इस विश्वास को रेखांकित करती है कि हमारे पास अपनी नियति को आकार देने की शक्ति है।
अल्बोम इस बात पर प्रतिबिंबित करता है कि भगवान हमें प्यार और आशा के साथ कैसे देखते हैं, हमारे लिए बुद्धिमान निर्णय लेने की कामना करते हैं। यह परिप्रेक्ष्य पाठकों को उनकी क्षमता और उनके कार्यों के महत्व को स्वीकार करने के लिए प्रोत्साहित करता है, यह दर्शाता है कि दिव्य मार्गदर्शन मौजूद है, यह अंततः व्यक्तियों पर निर्भर है कि वे अपनी स्वतंत्र इच्छा को गले लगाएं और सार्थक जीवन जीएं।